शुक्र रत्न हीरा हीरा रत्न धारण करने के बड़े लाभ धनवान सुखी जीवन के लिए धारण करें हीरा
श्रम वीर भारत न्यूज़/एस्ट्रोलॉजी वास्तु 30जुलाई
हीरा डायमंड को सबसे महंगे रत्नों में से एक माना जाता है।
हीरा डायमंड को सबसे महंगे रत्नों में से एक माना जाता है। यह शुक्र का रत्न है और शुक्र की शुभता प्राप्त करने के लिए हीरा रत्न धारण करने का सुझाव योग्य ज्योतिषियों द्वारा दिया जाता है। जिस कुंडली में शुक्र योगकारक हो, केंद्र या त्रिकोण राशि का स्वामी हो और केंद्र या त्रिकोण राशि में स्थित हो और शुभ ग्रहों से संबंध बनाता हो तो वहां हीरा धारण करना प्रभाव को बढ़ाने में सहायक माना जाता है। शुक्र का। यह पारदर्शी और चमकदार होता है।
हीरा रत्न धारण करने के बड़े लाभ
– हीरा रत्न धारण करने से जातक के जीवन में सभी भौतिक सुख प्राप्त होते हैं। उसे एक आरामदायक जीवन मिलता है। उनकी आर्थिक चुनौतियां दूर होती हैं। वह लोगों के आकर्षण का केंद्र बन जाता है। अभिनय और कलात्मक क्षेत्र में काम करने वालों के लिए हीरा रत्न बहुत उपयोगी है। यह प्यार करने वाले जोड़े के बीच प्यार को भी बढ़ाता है और शादी के बाद वैवाहिक जीवन में प्यार को बढ़ाने का भी काम करता है। जीवनसाथी के साथ अंतरंग संबंधों को बढ़ाने के लिए भी हीरे उपयोगी होते हैं। इसे पहनने से व्यक्ति को एक अलग आभा मिलती है और लोग उसकी ओर आकर्षित होते हैं।
विधि हीरा रत्न धारण करने की विधि
हीरा एक अनमोल रत्न है। यह शुक्र ग्रह का रत्न है, जो जीवन में सभी भौतिक सुख प्रदान करता है। शुक्रवार के दिन होरा में हीरा रत्न को अपनी अनामिका अंगुली में चांदी की अंगूठी में धारण करना अत्यंत शुभ होता है। इसे आप पेंडेंट या ईयररिंग के तौर पर भी पहन सकती हैं। शुक्रवार के दिन शुक्ल पक्ष में हो तो उत्तम रहता है। इसे शाम के समय पहनना और भी शुभ होता है और यदि शुक्रवार के शुक्ल पक्ष में शुक्र का नक्षत्र मिल जाए यानि भरणी, पूर्वा फाल्गुनी और पूर्वाषाढ़ा में से कोई भी नक्षत्र हो तो उस समय इस रत्न को धारण करना अत्यंत शुभ हो जाता है। . कुछ विशेष मामलों में सफेद सोने या प्लेटिनम के छल्ले का भी उपयोग किया जा सकता है। इस रत्न को एक दिन पहले चावल में दबा देना चाहिए।
इस रत्न को धारण करने से पहले शुक्र ग्रह के बीज मंत्र
इस रत्न को धारण करने से पहले शुक्र ग्रह के बीज मंत्र “ॐ द्रं द्रोण द्रोण स: शुक्राय नमः” का कम से कम 108 बार जाप करना चाहिए। शुक्रवार के दिन हीरा धारण करने से पहले उसे शुद्ध जल, गंगाजल और गाय के दूध से शुद्ध कर लें। फिर इसे धूप और दीपक दिखाएं और शुक्र देव और माता लक्ष्मी से प्रार्थना करते हुए कि आपने हीरा रत्न धारण किया है, यह आपके लिए सफल और खुशियों से संपन्न हो। इस प्रकार प्रार्थना करते हुए इस रत्न को माता महालक्ष्मी के चरण स्पर्श कर धारण कर सकते हैं। उसके बाद छोटी बच्चियों को कुछ मीठा खाने को दें और उनके पैर छूकर आशीर्वाद दें.
कुंडली के अनुसार हीरा धारण करें
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7999074663 पंडित मनु मिश्रा ज्योतिष आचार्य सिद्धि रत्न एवं ज्योतिष