बहुत दुखी मन से एक साथ उठी 4 स्कूली बच्चों की अर्थियां, रोया गांव:उज्जैन ट्रक-ट्रैक्स की टक्कर में बहन ने इकलौता भाई, मां ने बेटी को खोया
By manu Mishra shramveerbharat News 23, 8,2022
उज्जैन के पास हुए भीषण सड़क हादसे में मृत 4 स्कूली बच्चों की अर्थियां एक साथ उठी तो पूरा उन्हेल गांव रो पड़ा। सोमवार देर शाम सभी का एक साथ अंतिम संस्कार किया गया। गांव बंद रहा। शोक में स्कूलों की छुट्टी कर दी गई। बता दें, एक दिन पहले उज्जैन-उन्हेल रोड पर झिरन्या फंटे पर स्कूल टैंपो ट्रैक्स और ट्रक में हुई भिड़ंत हो गई थी। हादसे में 4 बच्चों की मौत हो गई थी। टैंपो ट्रैक्स में 15 बच्चे सवार थे।
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बच्चों के शव गांव पहुंचते ही लोगों की भीड़ ने घेर लिया। चारों बच्चों का दाह संस्कार एक ही जगह पर किया गया। हादसे में 11 बच्चे घायल हुए, जिन्हें नागदा, उज्जैन और इंदौर के अस्पताल में भर्ती कराया गया है। ट्रक और स्कूल वाहन के ड्राइवर को पुलिस ने हिरासत में ले लिया है।
हादसे में मृत छात्र भाव्यांश (13) के परिवार वालों ने भारी मन से बताया कि एक महीने पहले ही उसका एडमिशन नागदा के फातिमा स्कूल में कराया था। हमें क्या पता था कि इतना बड़ा हादसा हो जाएगा। इससे पहले वो उन्हेल के स्कूल में ही पढ़ाई कर रहा था। वहीं, छात्रा इनाया नंदेड़ा (6) की मां बेसुध है। मां एक ही रट लगाए हुए है- मुझे मेरी बेटी लौटा दो…। हादसे में जान गंवाने वाली उमा (15), भाई हरीश के साथ स्कूल जाती थी। हरीश इंदौर के अस्पताल में भर्ती है। सुमित (18) परिवार का इकलौता बेटा था। बहन निहारिका के साथ नागदा पढ़ाई के लिए जाता था।
ड्राइवर बगैर फिटनेस के दौड़ा रहा था स्कूल टेंपो ट्रैक्स
जिस वाहन से बच्चे रोज उन्हेल से नागदा के स्कूल पहुंचते थे, उस रतलाम पासिंग टेंपो ट्रैक्स का परमिट, फिटनेस और बीमा तक नहीं है। वाहन रतलाम जिले की जावरा तहसील के ठिकरिया निवासी सोहन पिता मनोहर सिंह के नाम रजिस्टर्ड है। आरटीओ की ऑनलाइन साइट पर दर्ज जानकारी के अनुसार 2018 के बाद से वाहन मालिक ने बीमा नहीं कराया। बगैर परमिट, बीमा और फिटनेस टेस्ट के सालों से बच्चे रोजाना उन्हेल से नागदा तक सफर कर रहे थे। इसके बावजूद कभी परिवहन विभाग ने कार्रवाई नहीं की।
ट्रक की टक्कर से कुछ बच्चे स्कूल वाहन में बुरी तरह फंस गए थे।
सिंधिया पहुंचे घायल बच्चों का हाल जानने
सोमवार को उज्जैन पहुंचे ज्योतिरादित्य सिंधिया महाकाल की शाही सवारी के पूजन के बाद दुर्घटना में घायल हुए बच्चों का हाल जानने के लिए ऑर्थो अस्पताल पहुंचे। यहां उन्होंने बच्चों के अभिभावकों से बात कर उन्हें सांत्वना दी। उन्होंने डॉक्टर से कहा कि बेस्ट ट्रीटमेंट करो, शासन द्वारा मदद की जाएगी।